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दलाल सेवाएं

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बिक्री के साथ-साथ बिक्री की प्रक्रिया समय के साथ विकसित हुई है, सवाल उठाते हुए कि संपत्ति सलाहकार होमबॉयर की सेवा के लिए अपना दृष्टिकोण बदल नहीं रहे हैं। नए मार्केटिंग विचारों को बनाने की बात आती है तो अचल संपत्ति का व्यवसाय अंधे-प्रमुख-अंधे उपद्रव का शिकार बन गया है। इसके परिणामस्वरूप औसत दर्जे का मार्केटिंग हुआ है, जो लगता है और वही दिखता है। हालांकि, किसी अन्य कंपनी के दृष्टिकोण का पालन करने के लिए यह बेकार है क्योंकि इसमें मौलिकता नहीं है और आपके ब्रांड के लिए कोई भी मूल्य याद नहीं बनाता है कैसे साधारण विपणन आपके व्यवसाय को प्रभावित करता है? अचल संपत्ति में, आप आमतौर पर समान टैग लाइन, पोस्टकार्ड, ब्रोशर, और अन्य सभी-बिना किसी रणनीति के किए गए होंगे भयावह बात यह है कि आमतौर पर दलालों ने सामग्री की नकल की है, उनके बारे में कोई जानकारी नहीं है कि वे क्या कर रहे हैं। मान लीजिए कि कोई विचार आपके लिए नया लग रहा है और आप अपने विपणन समूह को उस टुकड़े को पुन: उत्पन्न करने के लिए कहेंगे। यहां समस्या है क्योंकि आपके पास कोई भी विचार नहीं है कि मूल व्यक्ति ने उस रणनीति के बारे में क्या सोचा था, आप यह नहीं देख सकते कि यह कितना सफल होगा। यह बाजार में आपके लिए एक 'मी-भी' छवि बन जाती है। क्या ऐसा प्रॉपर्टी ब्रोकरेज जैसे प्रतिस्पर्धी क्षेत्र में काम करता है? आपको अच्छी तरह से जवाब पता है औसत दर्जे का नस्ल कैसे काम करता है? सबसे भयानक हिस्सा यह है कि प्रॉपर्टी दलालों, जिन्हें मूल विचारों की ज़रूरत होती है, ताकि वे दूसरों के विचारों को कॉपी करने के जाल में सफल हो सकें यही कारण है कि हम सुझाव देते हैं कि अगर आप उद्योग में अन्य लोगों के विचारों के स्रोत की आवश्यकता महसूस करते हैं, अनुसंधान करते हैं और उनका मूल्यांकन करते हैं कि नेताओं ने क्या किया है हालांकि, फिर इसका अर्थ यह नहीं है कि फॉलो-द-झुंड दृष्टिकोण के लिए जा रहा है एक प्रेरणा लेना अच्छा है, लेकिन, प्रभावी होने के लिए, आपकी मार्केटिंग गतिविधियों को अनूठा और सुविख्यात होना चाहिए। मार्केटिंग का उद्देश्य प्रतिस्पर्धा का नेतृत्व करना और बाजार हिस्सेदारी को पकड़ना है। आप केवल एक महान विपणन योजना के साथ ही ग्राहकों को कुछ अलग और विशेष उपलब्ध कराने के माध्यम से इसे प्राप्त कर सकते हैं। उत्तर क्या है? यही वह जगह है जहां होमबॉयर की बदलती जरूरतों को खेलने के लिए एक भूमिका है। प्रदर्शित करें कि आप उनकी आवश्यकताओं और आकांक्षाओं को किसी अन्य कंपनी से बेहतर समझते हैं आप ऐसा नहीं कर सकते हैं यदि आप अपने प्रतिद्वंद्वियों की तरह दिखते हैं है न? इसलिए, तुरंत अपने प्रतिद्वंद्वियों का पालन करना रोकें यह समझें कि विक्रेताओं और होमबॉयर्स क्या खोज रहे हैं, और उन कारकों के साथ मिलकर अपने प्रमुख संदेशों को तैयार कर सकते हैं। उसके बाद, अपने प्रसाद के बारे में उन्हें जागरूक करने के लिए एक योजना विकसित करें और आप उनके लिए सबसे अच्छा विकल्प क्यों हैं। अपने मुख्य विभेदकों की एक सूची बनाएं और उन अंकों के आधार पर मार्केटिंग अभियानों का विकास करें। यह समय लेने वाला हो सकता है लेकिन दीर्घकालिक परिणाम आपके व्यवसाय के लिए बहुत अधिक फायदेमंद होंगे।

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दिव्यांग प्रमाण पत्र के नाम पर अवैध वसूली का गोरखधंधा: CMO ने पकड़े दलाल, बाबू की सेवा समाप्ति के निर्देश

दिव्यांग प्रमाण पत्र के नाम पर अवैध वसूली का भंडाफोड़

Gorakhpur News: गोरखपुर के जिला अस्पताल में कई दिनों से चल रहे दिव्यांग प्रमाण पत्र बनाने के नाम पर अवैध वसूली के मामले का भंडाफोड़ हुआ है. यहां कर्मचारियों की मिलीभगत से दिव्यांग प्रमाण पत्र कार्यालय के बाहर बैठे दो दलाल प्रमाण पत्र बनवाने के नाम पर 10 से 12 हजार की वसूली कर रहे थे.इसकी सूचना मुख्य चिकित्सा अधिकारी आशुतोष कुमार दुबे को लगी तो उन्होंने मौके पर पहुंच दलालों को पकड़ लिया.

दिव्यांगों से प्रमाण पत्र के नाम पर हजारों की वसूली

दरअसल, जिला अस्पताल के न्यू ओपीडी भवन में दिव्यांगों का प्रमाण पत्र बनाया जा रहा था. वहीं बाहर बैठे दो दलाल दिव्यांगों से प्रमाण पत्र बनवाने के लिए भारी-भरकम धन की वसूली कर रहे थे. सूचना मिलने पर मुख्य चिकित्सा अधिकारी डॉ आशुतोष कुमार दुबे सुरक्षाकर्मियों और सहयोगियों के साथ मौके पर पहुंच गए. उन्होंने दोनों दलालों को पकड़ कर कोतवाली भेज दिया. इनमें एक आरोपी घाघसरा बाजार तो दूसरा परमेश्वरपुर का रहने वाला है. यह दलाल दिव्यांगों से प्रमाण पत्र बनवाने के नाम पर 10000 से लेकर 12000 तक की वसूली करते हैं.

पूछताछ में दलालों ने बताया कि, सीएमओ कार्यालय के बाबू दुर्गेश की मदद से वे प्रमाण पत्र बनवाने का काम करते हैं. दोनों दलाल भी दिव्यांग हैं. सीएमओ ने दुर्गेश गुप्ता को बुलाकर खरी-खरी सुनाई और सेवा से बाहर कर दिया. उन्होंने संबंधित कर्मचारियों को निर्देश दिया कि दुर्गेश गुप्ता से काम न लिया जाए, इनको सेवा दलाल सेवाएं समाप्ति का नोटिस दे दिया जाए. नोटिस में स्पष्ट रूप से उल्लेख किया जाए कि वे दिव्यांगों से दलाली कर रहे थे और धन लेकर उनका प्रमाण पत्र बनवा रहे थे.

दिव्यांग प्रमाण पत्र में अंक का महत्व

बता दें दिव्यांग प्रमाण पत्र में जारी होने वाले अंक का विशेष महत्व होता है, जिसे 40 से 60 प्रतिशत अंक मिलते हैं. उसे सरकारी सुविधाएं कम मिलती हैं, वहीं जिसे 60 से 80 प्रतिशत अंक मिलते हैं उसे कई प्रकार की सरकारी सुविधा भी मिल जाती हैं.

साथ ही समय-समय पर सरकार के द्वारा चलाई जाने वाली योजनाओं का लाभ भी दिव्यांगों को मिलता रहता है. सरकारी योजनाओं में दिव्यांगों को ट्राई साइकिल अन्य कई तरह के उपकरण दिए दलाल सेवाएं जाते हैं. हालांकि डॉक्टर दिव्यांगों की स्थिति देखकर उनके प्रमाण पत्र पर अंक जारी करते हैं.

रिपोर्ट- कुमार प्रदीप

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शिवपाल यादव ने लगाया अपनी ही पार्टी के विधायकों पर दलाली और भ्रष्टाचार का आरोप

शिवपाल यादव (फाइल फोटो)

  • मैनपुरी,
  • 20 सितंबर 2015,
  • (अपडेटेड 20 सितंबर 2015, 12:13 PM IST)

उत्तर प्रदेश सरकार के मंत्री और मुख्यमंत्री अखिलेश यादव दलाल सेवाएं के चाचा शिवपाल यादव ने अपनी ही पार्टी के विधायकों पर जमकर निशाना साधा है. मैनपुरी में शनिवार को एक कार्यक्रम में शिवपाल ने कहा, 'हमारी पार्टी के कुछ विधायक जनता की सेवा का काम छोड़कर दलाली में जुटे हैं. वो काम के एवज में पैसे ले रहे हैं. हमारी सब पर नजर है.'

राज्य के PWD मंत्री शिवपाल यादव मैनपुरी के घिरोर में नई तहसील का उद्घाटन करने पहुंचे थे. पार्टी दलाल सेवाएं के विधायकों पर जब पत्रकारों ने शिवपाल से सवाल पूछा तो मंत्री जी का दर्द सामने आ गया. उन्होंने कहा, 'हमारे पास ऐसी खबरें आई हैं कि कुछ विधायक अपने पद का दुरुपयोग कर रहे हैं.' हालांकि उन्होंने यह भी कहा कि ताली एक हाथ से नहीं बजती और रिश्वत लेने वाले के साथ-साथ देने वाला भी दोषी है. उन्होंने राज्य के शिक्षा मित्रों से चिंतित न होने की अपील की. यादव ने कहा, 'सरकार हाईकोर्ट के फैसले के खिलाफ नया कानून लाने जा रही है.'

एसीबी टीम ने आरएएस और दलाल को पकड़ा

ब्यूरो की टीम ने शिकायत का सत्यापन करते हुए शनिवार को आरोपी आरएएस अशोक सांखला को शिकायतकर्ता से पांच लाख रुपए की रिश्वत लेकर कर अपने दलाल नितिन शर्मा द्वारा ले जाते हुए एसीबी टीम ने रंगे हाथ गिरफ्तार किया है.

इस प्रकरण में आईएएस अधिकारी नन्नूमल पहाड़िया को जिला कलेक्टर आवास से गिरफ्तार किया गया. बता दें कि पहाड़िया दो दिन पहले ही अलवर के जिला कलेक्टर पद से रिलीव हुए थे. आरोपी अशोक सांखला ने परिवादी से पहले ही पांच लाख रुपए रिश्वत के रूप में वसूले थे.

आरोपियों से पूछताछ जारी

के अतिरिक्त महानिदेशक दिनेश एम.एन. के निर्देशन में आरोपियों से पूछताछ जारी है. एसीबी द्वारा मामले में दलाल सेवाएं भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम के अंतर्गत प्रकरण दर्ज कर आगे की जांच की जाएगी. (इनपुट: दलाल सेवाएं भाषा)

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सीएम ने किया एएसपी पूनम दलाल की पुस्तक का विमोचन

सीएम ने किया एएसपी पूनम दलाल की पुस्तक का विमोचन

हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहर लाल ने शनिवार को यहां संघ लोक सेवा आयोग की परीक्षाओं सहित अन्य प्रतियोगी परीक्षाओं में सफलता के मूल मंत्र देने के उद्देश्य से दलाल सेवाएं रेवाड़ी एएसपी पूनम दलाल दहिया द्वारा लिखित पुस्तक ‘मॉडर्न इंडिया फ़ॉर सिविल सर्विसिस एग्जामिनेशन’ का दलाल सेवाएं विमोचन किया गया। मुख्यमंत्री ने पूनम दलाल दहिया की इस दूसरी पुस्तक के लेखन पर दलाल सेवाएं उनकी लेखनशैली सहित प्रतियोगी परीक्षाओं के लिए दी गई ज्ञानवर्धक जानकारी की सराहना की। गौरतलब है कि एएसपी पूनम दलाल दहिया मूल रूप से झज्जर जिला के गांव छारा की निवासी हैं और रेवाड़ी में बतौर एएसपी सेवाएं दे रही हैं। रेवाड़ी के डीसी यशेन्द्र सिंह, एसपी राजेश कुमार व अतिरिक्त उपायुक्त आशिमा सांगवान सहित ने पूनम दलाल को बधाई दी और जिला रेवाड़ी का मान बढ़ाने के लिए उनकी कार्यशैली की सराहना की।

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