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मुद्रा दरें

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दास ने आगे कहा, "हमने रिजर्व को सिर्फ रिजर्व बैंक ऑफ इंडिया में शोपीस के लिए नहीं इकठ्ठा किया है।" बता दें कि RBI ने डॉलर के मुकाबले रुपये में गिरावट को रोकने के लिए हाल ही में अपने रिजर्व से काफी मात्रा में डॉलर को निकालकर उनकी बिक्री की थी।

PM E Mudra Loan: पीएम ई मुद्रा लोन के लिए यहाँ से आवेदन करें, पांच मिनट में मिलेगा 50 हजार तक का लोन

PM E Mudra Loan: माननीय प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जी ने प्रधानमंत्री मुद्रा लोन मुद्रा दरें योजना (पीएमएमवाय) की शुरुआत की तथा यहां पर ‘मुद्रा / एम-यू- डी-आर-ए’ का अर्थ है “माइक्रो यूनिट्स डेवलपमेंट एंड फाइनेंस एजेंसी” PM E Mudra Loan के माध्यम से नागरिकों को ₹50 हजार से ₹10 लाख तक का लोन बहुत ही कम ब्याज दर पर प्राप्त होता है और इस लोन राशि का भुगतान करने के लिए आपको पूरे 60 माह अर्थात 5 साल की समयावधि प्राप्त होगी |

हम आपको बता दें कि प्रधानमंत्री ई मुद्रा लोन की शुरुआत 8 अप्रैल 2015,बुधवार नई दिल्ली से की गई तथा इस योजना के माध्यम से कुल तीन प्रकार के लोन उपलब्ध करवाए जाते हैं जिन्हें शिशु, किशोर, तरुण के नाम से संबोधित किया जाता है | PM E Mudra Loan के माध्यम से मध्यम तथा निम्न वर्गीय परिवारों को आसान शर्तों एवं बहुत ही कम ब्याज दरों में तीनों श्रेणियों की ऋण राशि समय एवं योग्यता अनुसार प्राप्त हो सकती है |

PM E Mudra Loan – Overview

1लेख विवरण पीएम ई मुद्रा लोन
2योजना की शुरुआतमाननीय प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जी द्वारा
3पीएमएमबायप्रधानमंत्री मुद्रा योजना
4श्रेणीसरकारी योजना
5एमयूडीआरएमाइक्रो यूनिट्स डेवलपमेंट एंड फाइनेंस एजेंसी (MUDRA)
6घोषणा तिथि8 अप्रैल 2015, बुधवार
7श्रेणीशिशु, किशोर एवं तरुण
8लाभार्थीभारतीय नागरिक
9आधिकारिक वेबसाइटhttps://www.mudra.org.in/
  • आवेदक का बैंक खाता
  • पासपोर्ट साइज फोटो
  • फिंगरप्रिंट एवं हस्ताक्षर
  • आधार कार्ड
  • पैन कार्ड
  • आय प्रमाण पत्र
  • जाति प्रमाण पत्र
  • स्थानीय निवास प्रमाण पत्र आदि |

PM E Mudra Loan – Details

PM E Mudra Loan : हमारे देश के माननीय प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जी ने 8 अप्रैल 2015, बुधवार को पीएम ई मुद्रा लोन योजना की शुरुआत की तथा यहां पर मुद्रा का अर्थ माइक्रो यूनिट्स डेवलपमेंट एंड फाइनेंस एजेंसी (MUDRA) है | पीएम ई मुद्रा लोन योजना के माध्यम से भारतीय नागरिकों को लोन राशि प्राप्त होती है तथा पीएम ई मुद्रा लोन का विभाजन कुल तीन श्रेणियों में किया गया है | पीएम ई मुद्रा लोन योजना में नागरिकों को शिशु, किशोर एवं तरुण के आधार पर लाभान्वित किया जाता है | पीएम ई मुद्रा लोन शिशु के माध्यम से नागरिकों को ₹50 हजार की राशि उपलब्ध करवाई जाती है | पीएम ई मुद्रा लोन किशोर के अंतर्गत नागरिकों को ₹50,001 से ₹5,00,000 तक का ऋण प्राप्त होता है और पीएम ई मुद्रा लोन तरुण के माध्यम से नागरिकों को ₹5,00,001 से ₹10 लाख तक की ऋण राशि बहुत ही कम ब्याज दर पर प्राप्त होती है और पीएम ई मुद्रा लोन के अंतर्गत प्राप्त ऋण राशि का भुगतान करने के लिए नागरिकों को पूरे 12 महीने से 5 वर्ष तक की समयावधि प्रदान की जाती है और भारत देश में निवास करने वाले नागरिक अपनी पात्रताओं की जानकारी प्राप्त कर, सामान्य रूप से निर्धारित नियम एवं शर्तों का पालन करते हुए पीएम ई मुद्रा लोन के लिए अप्लाई कर सकते हैं |

Dollar Vs Rupee : डॉलर के मुकाबले रुपया 14 पैसे मजबूत होकर 81.14 प्रति डॉलर पर पहुंचा

Dollar Vs Rupee : डॉलर के मुकाबले रुपया 14 पैसे मजबूत होकर 81.14 प्रति डॉलर पर पहुंचा

पिछले कारोबारी सत्र में रुपया 50 पैसे की गिरावट के साथ 81.28 के भाव पर बंद हुआ था.

Dollar Vs Rupee : सकारात्मक आर्थिक आंकड़ों और कच्चे तेल की कीमतों में नरमी आने के बीच भारतीय रुपया मंगलवार को अमेरिकी डॉलर के मुकाबले शुरुआती कारोबार में 14 पैसे मजबूत होकर 81.14 के भाव पर पहुंच गया. विदेशी मुद्रा कारोबारियों ने कहा कि विदेशी पूंजी की आवक बनी रहने से भी भारतीय मुद्रा को समर्थन मिल रहा है. अंतर-बैंक विदेशी मुद्रा विनिमय बाजार में डॉलर के मुकाबले रुपया 81.18 के भाव पर मजबूती के साथ खुला और थोड़ी ही देर में यह 81.14 के स्तर तक भी पहुंच गया. इस तरह पिछले बंद भाव के मुकाबले रुपये में 14 पैसे की मजबूती दर्ज की गई.

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पिछले कारोबारी सत्र में डॉलर के मुकाबले रुपया 50 पैसे की भारी गिरावट के साथ 81.28 के भाव पर बंद हुआ था.

इस बीच छह मुद्राओं के मुकाबले अमेरिकी डॉलर की मजबूती को परखने वाला डॉलर सूचकांक 0.30 प्रतिशत बढ़कर 106.97 पर पहुंच गया. अंतरराष्ट्रीय तेल मानक ब्रेंट क्रूड वायदा 0.13 प्रतिशत नुकसान के मुद्रा दरें साथ 93.02 डॉलर प्रति बैरल पर आ गया.

भारतीय शेयर बाजारों के दोनों प्रमुख सूचकांकों ने मंगलवार को शुरुआती कारोबार के दौरान मिली बढ़त को थोड़ी ही देर में गंवा दी. सेंसेक्स शुरुआती कारोबार के करीब आधे घंटे बाद 166.7 अंक गिरकर 61,457.45 अंक पर आ गया जबकि निफ्टी 37.10 अंक की गिरावट के साथ 18,292.05 के लेवल पर कारोबार करता दिखाई दिया.

सोमवार को जारी सरकारी आंकड़ों को अनुसार, खुदरा मुद्रास्फीति अक्टूबर में घटकर 6.7 प्रतिशत पर आ गई,जबकि थोक मूल्य सूचकांक आधारित मुद्रास्फीति मुख्य रूप से खाद्य वस्तुओं की मंद दरों के कारण 19 महीने के निचले स्तर पर पहुंच गई है.

अमेरिका ने भारत को करेंसी मॉनिटरिंग लिस्ट से निकाला, इसका मतलब क्या है?

अमेरिका ने भारत को करेंसी मॉनिटरिंग लिस्ट से निकाला, इसका मतलब क्या है?

अमेरिका की वित्त मंत्री जेनेट येलेन ने अपनी भारत यात्रा के साथ शुक्रवार को वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण के साथ बैठक की. इसी दिन अमेरिका के वित्त विभाग ने यह कदम उठाया है.

अमेरिका के वित्त विभाग ने इटली, मेक्सिको, थाईलैंड, वियतनाम के साथ भारत को प्रमुख व्यापारिक भागीदारों की मुद्रा निगरानी सूची (Currency Monitoring List) से हटा दिया है. भारत पिछले दो साल से इस सूची में था.

अमेरिका की वित्त मंत्री जेनेट येलेन ने अपनी भारत यात्रा के साथ शुक्रवार को वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण के साथ बैठक की. इसी दिन अमेरिका के वित्त विभाग ने यह कदम उठाया है.

क्या है करेंसी मॉनिटरिंग लिस्ट?

मुद्रा निगरानी सूची व्यवस्था के तहत प्रमुख व्यापार भागीदारों के मुद्रा को लेकर गतिविधियों तथा वृहत आर्थिक नीतियों पर करीबी नजर रखी जाती है.

मुद्रा निगरानी सूची के तहत किसी देश को रखने का अर्थ यह होगा कि वह देश दूसरों पर अनुचित लाभ प्राप्त करने के लिए अपनी मुद्रा के मूल्य को कृत्रिम रूप से कम कर रहा है. ऐसा इसलिए मुद्रा दरें है क्योंकि मुद्रा के कम मूल्य से उस देश से निर्यात लागत में कमी आएगी.

इस रिपोर्ट में, अमेरिकी ट्रेजरी विभाग ने जून 2022 तक की चार तिमाहियों के दौरान प्रमुख अमेरिकी व्यापारिक साझेदारों की नीतियों की समीक्षा की और उनका आकलन किया, जिसमें माल और सेवाओं में लगभग 80 प्रतिशत अमेरिकी विदेशी व्यापार शामिल था.

भारत के लिए इसका मतलब क्या है?

अमेरिका की मुद्रा निगरानी सूची में किसी देश को 'करेंसी मैनिपुलेटर' माना जाता है. एक करेंसी मैनिपुलेटर एक डेजिगनेशन है जो अमेरिकी सरकार के अधिकारियों द्वारा उन देशों पर लागू किया जाता है जो व्यापार लाभ के लिए "अनुचित मुद्रा प्रथाओं" में संलग्न हैं.

ग्रांट थॉर्नटन भारत में पार्टनर और लीडर (वित्तीय सेवा जोखिम) विवेक अय्यर ने कहा कि अब मुद्रा मैनिपुलेटर के रूप में टैग हुए बिना अमेरिका की मुद्रा निगरानी सूची से हटाने का मतलब है कि भारतीय रिजर्व बैंक (आरबीआई) अब विनिमय मुद्रा दरें दरों को प्रबंधित करने के लिए मजबूत उपाय कर सकता है. यह बाजार के नजरिए मुद्रा दरें से एक बड़ी जीत है और वैश्विक विकास में भारत की बढ़ती भूमिका को भी दर्शाता है."

बता दें कि, रुपये में गिरावट के बीच विनिमय दरों को प्रबंधित करने के लिए, आरबीआई ने हाल ही में अतिरिक्त इनफ्लो के समय डॉलर खरीदने और आउटफ्लो के समय डॉलर बेचने जैसी कार्रवाई की.

चीन अभी भी निगरानी में

रिपोर्ट में कहा गया है कि चीन अपने विदेशी विनिमय हस्तक्षेप को प्रकाशित करने में विफल रहने और अपनी विनिमय दर तंत्र में पारदर्शिता की कमी के चलते वित्त विभाग की नजदीकी निगरानी में है. चीन के साथ ही जापान, कोरिया, जर्मनी, मलेशिया, सिंगापुर और ताइवान भी इस लिस्ट में बने हुए हैं.

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विदेशी मुद्रा भंडार बस दिखाने के लिए नहीं, 'बारिश के दिनों' में इसका इस्तेमाल जरूरी: RBI गवर्नर शक्तिकांत दास

रिजर्व बैंक ऑफ इंडिया (RBI) के गवर्नर शक्तिकांत दास (Shaktikanta Das) ने शनिवार 12 नंवबर को भारतीय रुपये (Rupee) पर दबाव कम करने के लिए फॉरेन एक्सचेंज मार्केट में केंद्रीय बैंक के हस्तक्षेप को सही बताते हुए उसका बचाव किया। RBI गवर्नर ने कहा कि विदेशी मुद्रा भंडार (Foreign मुद्रा दरें Exchange Reserves) का इस्तेमाल ठीक ऐसी ही स्थितियों में किया जाना चाहिए ताकि यह सुनिश्चित किया जा सके कि एक्सचेंज रेट में कोई अनुचित अस्थिरता न आए। 'हिंदुस्तान टाइम्स लीडरशिप समिट' में बोलते हुए शक्तिकांत दास ने कहा, "कुछ ऐसे ऑब्जर्वेशन किए थे कि RBI अपने रिजर्व का अंधाधुंध इस्तेमाल कर रहा है। ऐसा नहीं है। जैसा कि मैंने पहले भी कहा है कि बारिश के मौसम में हमें बचाव के लिए छाता उठाना पड़ता है। हमने ऐसे ही बारिश के दिनों में अपने रिजर्व का इस्तेमाल किया है।"

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